भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी पर लगाम लगाने के लिए सीबीआई एक के बाद एक कार्रवाई कर रही है। अब एजेंसी ने रिश्वत मामले में केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (CDSCO) के असिस्टेंट ड्रग कंट्रोलर एक औषधि निरीक्षक और सहायक कार्यालय में तैनात एक अधीनस्थ कर्मचारी को गिरफ्तार किया है।
सीबीआई का औचक निरीक्षण
केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (सीडीएससीओ) के सहायक औषधि नियंत्रक के कार्यालय में बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार के आरोपों के संबंध में जानकारी प्राप्त होने के बाद सीबीआई, सतर्कता अधिकारियों और स्वतंत्र गवाहों की एक संयुक्त टीम ने संबंधित कार्यालय में 2 अप्रैल को औचक निरीक्षण किया था। जांच के दौरान पता लगा कि निजी व्यक्ति अपने ग्राहकों यानी फार्मास्युटिकल दवाओं के निर्माताओं, निर्यातकों और आयातकों को एनओसी की सुविधा देने के लिए लोक सेवकों की ओर से रिश्वत के पैसे इकट्ठा कर रहे थे।
बेहिसाब धन स्वीकार किया गया
सीबीआई समेत विभिन्न टीमों के औचक निरीक्षण के दौरान लोक सेवकों और निजी व्यक्तियों के दराज से लगभग 1.52 लाख रुपये की नकद राशि भी बरामद की गई है। संबंधित लोक सेवक और निजी व्यक्ति इन पैसों के बारे में कोई भी संतोषजनक जवाब नहीं दे सके। कथित तौर पर बताया जा रहा है कि संदिग्ध लोक सेवकों द्वारा एनओसी जारी करने के लिए सीएचए या उनके प्रतिनिधियों से सीधे या निजी व्यक्तियों के माध्यम से रिश्वत के रूप में बेहिसाब धन स्वीकार किया गया था।
ये लोग हुए गिरफ्तार
औचक निरीक्षण में घूस लेने के आरोप में गिरफ्तार हुए अधिकारियों की पहचान अरविंद आर हिवाले (सहायक औषधि नियंत्रक), देवेन्द्र नाथ (औषधि निरीक्षक) और नागेश्वर एन.सब्बानी (अधीनस्थ कर्मचारी) के रूप में हुई है। सीबीआई को रिश्वत की मांग और स्वीकार करने के संबंध में लिखित शिकायतें प्राप्त हुईं थी। जब इनके घरों की तलाशी ली गई तो इनके यहां से आपत्तिजनक दस्तावेज और लगभग 46.70 रुपये की नकदी और लगभग 27.80 लाख रुपये मूल्य के सोने/चांदी के आभूषण बरामद हुए हैं। इसेक साथ ही विभिन्न अचल संपत्तियों से संबंधित दस्तावेज और अन्य आपत्तिजनक दस्तावेज भी बरामद किए गए हैं।
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