भारतीय टीम के ऑलराउंडर अक्षर पटेल को गुरुवार 30 नवंबर को उस समय बड़ा झटका लगा होगा, जब उन्होंने अपना नाम साउथ अफ्रीका के खिलाफ टी20 सीरीज के लिए चुनी गई टीम में नहीं पाया होगा। इसके बाद खेले दो मैचों में उन्होंने जिस तरह का प्रदर्शन किया है, उससे लगता है कि अक्षर पटेल को नहीं चुनकर चयनकर्ताओं ने गलती कर दी है।
अक्षर पटेल ने एक तरह से ऑस्ट्रेलिया की लंका लगाने का काम किया है।
दरअसल, 30 नवंबर को अक्षर पटेल को साउथ अफ्रीका के खिलाफ उन्हीं की सरजमीं पर होने वाली तीन मैचों की टी20 सीरीज के लिए नहीं चुना गया। इसके पीछे का कारण ये रहा होगा कि वहां स्पिनर्स को उतनी मदद नहीं मिलती और रविंद्र जडेजा की भी वापसी हो गई है। ऐसे में एक जैसे दो ऑलराउंडर चयनकर्ताओं को जरूरी नहीं लगे। इसके अलावा वॉशिंगटन सुंदर भी उस टीम में हैं तो फिर अक्षर पटेल को बाहर बैठना होगा।
ऐसे में अक्षर पटेल के पास टी20 क्रिकेट में अपनी प्रतिभा दिखाने का आखिरी मौका ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पांच मैचों की सीरीज के बाकी बचे दो मैच थे। उन्होंने रायपुर में खेले गए चौथे टी20 मैच में बॉल से दमदार प्रदर्शन किया। बल्ले से वे कमाल नहीं दिखा सके, लेकिन गेंदबाज के तौर पर उन्होंने ऑस्ट्रेलिया को चारों खाने चित करने का काम किया। ऑस्ट्रेलिया की टीम के 3 बल्लेबाज को उन्होंने पवेलियन भेजा और 4 ओवर में सिर्फ 16 रन दिए। इसके लिए वे प्लेयर ऑफ द मैच रहे।
इसके बाद बेंगलुरु में खेले गए पांचवें टी20 मैच में अक्षर पटेल का पहले बल्ला चला और फिर गेंद से उन्होंने करामात दिखाई। बल्लेबाज के तौर पर अक्षर पटेल ने 21 गेंदों में 2 चौके और 1 छक्के की मदद से 31 रनों की पारी खेली, जबकि गेंद से उन्होंने 4 ओवर किए और सिर्फ 14 रन दिए। एक सफलता भी उनको मिली। बेंगलुरु के छोटे से स्टेडियम में ये आंकड़े शानदार हैं, क्योंकि चिन्नास्वामी स्टेडिय काफी छोटा है, जहां किनारा लगकर भी गेंद बाउंड्री पार गिरती है।
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