ढोंगीआंबा गाँव पहली और निचली पलियाओं की ओर है, इसलिए कभी-कभी बरसात के दौरान नदी का बहाव अधिक हो जाता है और खेतों का काम भी रुक जाता है। ढोंगीआंबा गाँव की प्राथमिक विद्यालय पहले पलिया में है, इसलिए निचले पलिया के बच्चों को शिक्षा नहीं मिल पाती क्योंकि नदी पार करने की कोई सुविधा नहीं है, कभी-कभी मानसून के दौरान भारी बारिश होती है, उसके लिए कौन जिम्मेदार है...?
पहले पलिया में बरसात के दौरान ढोंगीआंबा गांव में जब किसी की मौत हो जाती है तो निचले पलिया में श्मशान घाट होने के कारण शव को बड़े खतरे का सामना कर नदी पार करनी पड़ती है। अब भी जब पहले पालिये के लोगों को निचले पालिये पर जाना होता है तो उन्हें छड़ी के सहारे कॉजवे ब्रिज पार करना पड़ता है। इस कॉजवे ब्रिज के खिलाफ ग्रामीण कई बार मौखिक और लिखित रूप से गुहार लगा चुके हैं लेकिन सिस्टम की ओर से आज तक कोई ध्यान नहीं दिया गया, तो क्या सिस्टम कोई घटना होने की इंतजार कर रहा है..? डांग जिले के कलेक्टरश्री ढोंगीआंबा के ग्रामीणों को कॉजवे ब्रिज के कारण होने वाली परेशानी को दूर करने की ग्रामीणों की मांग की।
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