गोरखपुर,लखनऊ कचहरी परिसर में अपराधी की हत्या के बाद से गुरुवार को दीवानी कचहरी परिसर में सख्ती बढ़ा दी गई है। जनपद न्यायाधीश तेज प्रताप तिवारी ने न्यायिक अधिकारियों के साथ बैठक कर समीक्षा की।उन्होंने सभी अधिवक्ताओं से अपने पास बार एसोसिएशन द्वारा निर्गत परिचय पत्र रखने और सुरक्षाकर्मियों के मांगे जाने पर दिखाने का सुझाव दिया। उधर, जिला न्यायालय सुरक्षा समिति के अध्यक्ष अपर जनपद न्यायाधीश संतोष कुमार गौतम ने पुलिस अधिकारियों के साथ परिसर के हर गेट का निरीक्षण किया। उन्होंने मेटल डिटेक्टर समेत सीसी कैमरों की जांच की। प्रवेश के नए नियम के तहत गेट नंबर एक व तीन से जांच के बाद आमजन को प्रवेश करने का निर्देश दिया गया।
अधिवक्ताओं को पहचान पत्र जांच के बाद प्रवेश देने का निर्देश
विकास भवन के गेट से आने वाले अधिवक्ताओं को पहचान पत्र जांच के बाद प्रवेश देने को कहा गया। इसी के साथ दीवानी कचहरी परिसर में सुरक्षा के लिए लगाए गए पुलिसकर्मियों की संख्या 44 से बढ़ाकर 60 कर दी गई है। हर हर गेट पर पर एक-एक मेटल डिटेक्टर लगवा दिया गया है, जहां पर तैनात पुलिसकर्मियों द्वारा जांच करने के बाद ही आमजन को प्रवेश दिया गया। निरीक्षण के दौरान सुरक्षा समिति की सदस्य मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट त्वीशी श्रीवास्तव, सीओ कैंट योगेन्द्र सिंह, सीओ एलआइयू, डाग स्क्वाड समेत अन्य मौजूद रहे।
इस गेट से मिलेगा अधिवक्ताओं को प्रवेश
सीओ कैंट ने बताया कि बिना मेटल डिटेक्टर से गुजरे किसी भी व्यक्ति को प्रवेश नहीं दिया जाएगा। पहचान पत्र चेक करने के बाद ही अधिवक्ताओं को न्यायालय परिसर में जाने दिया जाएगा। आम लोगों को गेट नंबर एक व तीन से ही प्रवेश दिया जाएगा। कमिश्नरी, एडीजी कार्यालय व मजार गेट से सिर्फ अधिवक्ता ही प्रवेश कर पाएंगे। वह भी पहचान पत्र दिखाने के बाद। मजार के पास दो गेट है, जिसमें एक को बंद कर दिया जाएगा। आने वाले व्यक्तियों के बैग व वाहन मेटल डिटेक्टर से जांच कर स्टैंड में जमा कराए जाएंगे।
घटना को लेकर अधिवक्ताओं ने नहीं किया न्यायिक कार्य
लखनऊ में हुई घटना के बाद गुरुवार को बार एसोसिएशन के अधिवक्ता न्यायिक कार्य से विरत रहे। अधिवक्ताओं ने कहा कि ऐसे असुरक्षित माहौल में कार्य कर पाना मुश्किल है। बार एसोसिएशन के अध्यक्ष मनोज कुमार पांडेय ने न्यायालय की सुरक्षा व्यवस्था को दृष्टिगत रखते हुए सभी अधिवक्ताओं से अपने पास पहचानपत्र अवश्य रखने तथा सुरक्षाकर्मियों के मांगने पर बिना किसी विवाद उनका सहयोग करने की अपील की है। उन्होंने कहा कि जिस अधिवक्ता के पास अभी तक पहचान पत्र नहीं है वह बार एसोसिएशन के कार्यालय से संपर्क कर यथाशीघ्र अपना बनवा लें।
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